क्या आप जानते हैं कि एक रुपये का सिक्का बनाने की लागत इसके असली मूल्य से अधिक होती है? आइए जानें इसके पीछे की कहानी!
भारत सरकार और RBI मिलकर भारतीय करेंसी का निर्माण करते हैं। यहां होते हैं सिक्के और नोट्स का निर्माण!
आश्चर्यजनक रूप से, एक रुपये का सिक्का बनाने की लागत 1.11 रुपये होती है!
2 रुपये का सिक्का (1.28 रुपये), 5 रुपये का सिक्का (3.69 रुपये), 10 रुपये का सिक्का (5.54 रुपये)!
2000 रुपये का नोट छापने की लागत 4 रुपये है! लेकिन ये खर्च देश की आर्थिक स्थिरता के लिए जरूरी है।
मेटल की कीमतें, निर्माण प्रक्रिया की जटिलता और सुरक्षा फीचर्स इन लागतों में वृद्धि करते हैं।
यह घाटे का सौदा नहीं! सरकार मुद्रा के निर्माण को एक दीर्घकालिक निवेश मानती है, जो देश की आर्थिक स्थिरता बनाए रखता है।
नई तकनीकों का इस्तेमाल और हल्के मेटल्स से लागत में कमी आ सकती है, लेकिन गुणवत्ता में कोई समझौता नहीं होगा।
एक रुपये का सिक्का मैन्युफैक्चर करना महंगा है, लेकिन यह देश की मुद्रा प्रणाली की स्थिरता के लिए जरूरी है!
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